बड़े होटलों की थाली में कितना खाना परोसा जाए, अब सरकार तय करेगी

नई दिल्ली. होटलों में एक शख्स को एक थाली में कितना खाना परोसा जाए, सरकार यह तय करने जा रही है। इसके 2 मकसद हैं। पहला- होटलों में खाने की बर्बादी कम करना। दूसरा- लोग जितना खाएं, उसी का पैसा चुकाएं। नियम लागू होने के बाद मैन्यू में लिखा होगा कि परोसे जाने वाले खाने की मात्रा कितनी है। नियम बनाने से पहले देशभर में सर्वे कर सभी पक्षों से जानकारी ली जाएगी। इसमें लोगों की खुराक, कितनी बार खाना छोड़ते हैं, क्या एक आॅर्डर पर अलग जगहों पर अलग मात्रा मिलती है? जैसे 25 से 30 सवाल होंगे। ढाबों और छोटे होटलों को रहेगी इससे छूट…
– मामले में कन्ज्यूमर मिनिस्ट्री के एक अफसर ने कहा कि ज्यादा मात्रा में खाना परोसे जाने की कीमत लोग क्यों चुकाएं? अगर क्वांटिटी कम होगी तो कीमत भी कम होगी। किसी को ज्यादा चाहिए तो दोबारा ले सकता है। नया नियम 6 महीने में लागू हो सकता है। ढाबों और छोटे होटलों को इससे छूट होगी।
कंज्यूमर अफेयर्स मिनिस्टर रामविलास पासवान से बातचीत
Q.ये योजना क्यों लाई गई?
A.हाल ही में प्रधानमंत्री ने मन की बात में इसका जिक्र किया था। तब हमने इस पर काम शुरू किया।
Q.खाने की मात्रा सरकार कैसे तय कर सकती है? सबकी खुराक अलग होती है।
A. मोटे तौर पर हर व्यक्ति के खाने की मात्रा करीब-करीब बराबर होती है। हां, कोई चावल ज्यादा खाता है तो कोई रोटी। बाकी में बहुत कम अंतर होता है। हम सभी पक्षों से बात करके ही मात्रा तय करेंगे। जिसे ज्यादा खाना है वह दोबारा ऑर्डर कर सकता है।
Q.होटल अगर हाफ प्लेट के लिए पूरी कीमत वसूले तो…
A. होटलों में हाफ प्लेट तो मिलना चाहिए। और कीमत भी फुल प्लेट से कम होनी चाहिए। सभी पक्ष इससे सहमत होंगे।
Q.ढाबों का क्या होगा?

A. ढाबों पर नियम लागू नहीं होगा। वहां पर पहले से ही हॉफ प्लेट या कटिंग दाल-सब्जी का सिस्टम है। नई व्यवस्था स्टार होटलों और बड़े रेस्तरां के लिए होगी।

Q.कहा जा रहा है कि होटल इंडस्ट्री सहमत नहीं है?

A.हम अकेले नियम तय नहीं करेंगे। सभी स्टेकहोल्डर्स से बात करके ही मात्रा तय करेंगे। इसमें होटल इंडस्ट्री तो शामिल होगी ही। यह विश्वास दिलाता हूं कि इंडस्ट्री पर कोई उल्टा असर नहीं पड़ेगा।
Q.क्या इसे अपनाने वालों को सहूलियत भी मिलेगी?
A. क्यों नहीं, अगर कोई भोजन की बर्बादी रोकने में सफल होता है तो उसे खुद फायदा होगा। इसके साथ ही हम भी प्रोत्साहन पत्र सहित कुछ कदम उठा सकते हैं।
Q.आपको पूरा भरोसा है?
A. हमने सर्विस चार्ज नहीं देने का मुद्दा उठाया था तब भी यही कहा गया था कि यह कैसे होगा। पर धीरे-धीरे सब राजी हो गए और कस्टमर भी जागरूक हुआ।
बड़े होटलों में परोसा जाता है ज्यादा खाना
– न्यूट्रीशनिस्ट नीतू झा के मुताबिक, एक दिन में एक आदमी को 2 हजार कैलोरी और महिलाओं को 1500 से 1800 कैलोरी चाहिए। एक वक्त के खाने में एक शख्स को 75 ग्राम आटा या तीन रोटी, 30 ग्राम दाल, 35 ग्राम सब्जी, 25 ग्राम सलाद और 50 ग्राम दही भरपूर है। बड़े होटलों में इस लिहाज से ज्यादा खाना दिया जाता है।
– फेडरेशन आॅॅॅफ एसोसिएशंस इन इंडियन टूरिज्म एंड हॉस्पिटेलिटी के सेक्रेटरी सईद एम शेरवानी ने बताया कि सरकार ने सभी स्टेकहोल्डर्स से बातचीत करने का भरोसा दिलाया है। इस बातचीत के बाद ही हम कह पाएंगे कि वह क्या चाहते हैं और हमारा क्या मत है। पर सबसे अहम सवाल है कि जो भी नियम बनेगा उसे अमल में कैसे लाया जाएगा।