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आज नए प्रधानमंत्री की नियुक्ति करेंगे मैक्रों, बढ़ते राजनीतिक गतिरोध से निपटने की आखिरी कोशिश

पेरिस । राजनीतिक उथल-पुथल के बीच फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों शुक्रवार को नए प्रधानमंत्री के नाम का एलान करने वाले हैं। फ्रांस में बीते एक साल से जारी राजनीतिक गतिरोध को खत्म करने की यह राष्ट्रपति मैक्रों का यह कदम आखिरी कोशिश के तौर पर देखा जा रहा है। फ्रांस की अर्थव्यवस्था इस समय भारी आर्थिक चुनौतियों और बढ़ते कर्ज से जूझ रही है।
फ्रांसीसी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों का कार्यकाल 2027 तक है, लेकिन नेशनल असेंबली में अल्पमत की सरकार होने के चलते मैक्रों को विपक्ष के भारी दबाव का सामना करना पड़ रहा है। इसके चलते मैक्रों को अपनी ही पार्टी में आलोचना का सामना करना पड़ रहा है और अल्पमत में होने के चलते उनके पास ज्यादा कुछ करने की गुंजाइश नहीं है। सेबेस्टियन लेकोर्नु ने सोमवार को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था, जिसके बाद मैक्रों के राष्ट्रपति पद छोड़ने और संसद भंग करने की मांग उठने लगी थी, लेकिन मैक्रों ने पद छोड़ने से इनकार कर दिया और नया प्रधानमंत्री नियुक्त करने का एलान कर दिया।
बीते एक साल से फ्रांस में राजनीतिक गतिरोध जारी है और यह ऐसे समय हो रहा है, जब यूरोपीय संघ की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बुरे दौर से गुजर रही है। फ्रांस में ऋण संकट बढ़ रहा है। साल 2025 की पहली तिमाही में फ्रांस का कुल कर्ज 3.9 खरब अमेरिकी डॉलर रहा, जो सकल घरेलू उत्पाद का 114 प्रतिशत रहा। राष्ट्रीय सांख्यिकी संस्थान के आंकड़ों के अनुसार, फ्रांस की गरीबी दर भी 2023 में 15.4 प्रतिशत तक पहुंच गई, जो 1996 के बाद सबसे ज्यादा है।
माना जा रहा है कि इमैनुएल मैक्रों को अब पेंशन सुधार के अपने कदम से पीछे हटना पड़ सकता है। मैक्रों के इस कदम की भारी आलोचना और विरोध भी हो रहा है। मैक्रों ने इस बेहद अलोकप्रिय उपाय के लिए कड़ा संघर्ष किया, जिसे व्यापक विरोध के बावजूद 2023 में कानून बना दिया गया।

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