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हाईकोर्ट ने मालूर विधानसभा का चुनाव किया रद्द, वोटों की दोबारा गिनती का आदेश; गड़बड़ी का था आरोप

बंगलूरू । कर्नाटक हाईकोर्ट ने कांग्रेस विधायक के वाई नानजेगौड़ा के चुनाव को रद्द करते हुए 2023 विधानसभा चुनावों में मालूर सीट पर डाले गए वोटों की दोबारा गिनती का आदेश दिया है। कोर्ट का यह बड़ा फैसला भाजपा प्रत्याशी के एस मंजीनाथ गौड़ा की याचिका पर आया है। मंजीनाथ गौड़ा ने गिनती प्रक्रिया में गड़बड़ी का आरोप लगाया था।
हाईकोर्ट की न्यायमूर्ति आर देवदास की अध्यक्षता वाली पीठ ने सोमवार को यह आदेश सुनाया। कोर्ट ने साफ कहा कि मालूर विधानसभा सीट पर मतगणना के दौरान गंभीर अनियमितताएं हुई थीं, इसलिए परिणाम को वैध नहीं माना जा सकता।
यह मामला तब शुरू हुआ जब भाजपा उम्मीदवार मंजीनाथ गौड़ा ने 2023 में हुए चुनावों में हार के बाद अदालत का दरवाजा खटखटाया। उन्होंने आरोप लगाया था कि मतगणना के दौरान गिनती में धांधली हुई और इसी वजह से वह हार गए।
करीब दो वर्षों तक चली लंबी सुनवाई के बाद हाईकोर्ट ने माना कि मतगणना की प्रक्रिया में पारदर्शिता नहीं थी। अदालत ने न केवल गिनती दोबारा करने का आदेश दिया बल्कि नानजेगौड़ा का चुनाव भी रद्द कर दिया।
हालांकि, नानजेगौड़ा के वकील की अपील पर अदालत ने अपने ही आदेश पर 30 दिन की रोक लगाई है। इस दौरान कांग्रेस विधायक सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटा सकते हैं। यदि 30 दिन में उच्चतम न्यायालय से कोई राहत नहीं मिलती, तो नानजेगौड़ा की विधानसभा सदस्यता स्वत: समाप्त हो जाएगी।
इस फैसले के बाद कर्नाटक की राजनीति में हलचल मच गई है। कांग्रेस और भाजपा दोनों दलों ने इसे अपने-अपने तरीके से मुद्दा बना लिया है। भाजपा इसे अपनी जीत बता रही है, वहीं कांग्रेस कह रही है कि वह सुप्रीम कोर्ट जाएगी और नानजेगौड़ा के लिए न्याय की मांग करेगी।

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