यमुना में कूदने वाले मथुरा के आदमी ने मदद की अपील करते हुए मूड बदल दिया।

उत्तर प्रदेश के मथुरा से आत्महत्या के प्रयास का एक अनोखा मामला सामने आया है। एक 50 वर्षीय व्यक्ति, जिसका नाम सुंदर है, ने वृंदावन इलाके में आत्महत्या करने का प्रयास किया। वह यमुना नदी में कूद गया, लेकिन जैसे ही उसने पानी में कूदने का निर्णय लिया, उसका मन बदल गया और उसने मदद के लिए चिल्लाना शुरू कर दिया। nearby लोगों ने उसकी चीख सुनी और पुलिस को सूचित किया, जिसके बाद उसे किसी तरह बचाया गया।
### घर पर झगड़े के बाद आत्महत्या का प्रयास
वृंदावन पुलिस थाने के SHO ने बताया कि यह घटना शनिवार को हुई थी। सुंदर ने अपने परिवार के साथ तीखी बहस की, जिससे वह नाराज और गुस्से में आ गया। इससे आहत होकर, उसने अपने जीवन समाप्त करने का निर्णय लिया और अपने घर के निकट यमुना नदी में कूद गया।
### आत्महत्या के विचार से जागरूकता
हालांकि, जब सुंदर ने नदी में कूदने के बाद पानी में डूबने का अनुभव किया, तो उसे अपनी गलती का एहसास हुआ। ऐसे में, उसने खुद को बचाने के लिए हाथ-पैर चलाना शुरू कर दिया। पुलिस अधिकारी ने बताया कि जल्द ही वह एक पुल के स्तंभ से चिपक गया और मदद के लिए चिल्लाने लगा।
### बचाव की कवायद
वहीं पास में एक यात्री, भूरा सिंह ने उसकी पुकार सुनी और तुरंत पुलिस को सूचना दी। जैसे ही पुलिस को इस बात की जानकारी लगी, एक पुलिस रिस्पांस वाहन मौके पर पहुंचा। नदी का प्रवाह तेज था और सुंदर उस स्तंभ से चिपके रहने में थक रहा था। पुलिस कांस्टेबल विशाल तोमर और ड्राइवर नरेश कुमार ने रस्सी की मदद से नदी में उतरकर उसे बचाया।
### धन्यवाद ज्ञापन और आत्मावलोकन
बचाने के बाद, सुंदर ने पुलिस का धन्यवाद किया और स्वीकार किया कि वह स्तंभ से चिपके हुए थक गया था। यदि समय पर मदद नहीं मिलती, तो परिणाम भयावह हो सकते थे। उसकी खुद को बचाने की प्रक्रिया ने उसे यह सोचने पर मजबूर किया कि जीवन कितना कीमती है।
यह घटना न केवल आत्महत्या के प्रयास की गंभीरता को दर्शाती है, बल्कि यह भी दिखाती है कि अक्सर व्यक्ति हताशा में impulsive निर्णय ले लेते हैं। जब हमें ऐसा महसूस हो कि सब कुछ खत्म हो गया है, तब कभी-कभी मदद की एक आवाज हमें फिर से जीने की प्रेरणा देती है।
### मानसिक स्वास्थ्य के मुद्दे
इस घटना ने यह भी साबित किया कि हमारे समाज में मानसिक स्वास्थ्य के मुद्दों पर चर्चा करने की जरूरत है। हमें उन लोगों के प्रति संवेदनशील होना चाहिए जो कठिनाइयों से गुजर रहे हैं। परिवार, दोस्त, और समुदाय के स्तर पर सहारा देकर कई लोगों की जान बचाई जा सकती है।
### समापन
यह कहानी हमें यह भी याद दिलाती है कि हमारी जिंदगी में उतार-चढ़ाव आते रहते हैं, लेकिन हमें कभी भी हार नहीं माननी चाहिए। हर कठिनाई में एक मौका छिपा होता है, जो हमें और मजबूर बनाता है। आत्महत्या की ओर बढ़ते विचार को दरकिनार कर, हमें सकारात्मकता की ओर बढ़ने का प्रयास करना चाहिए।
इस घटना का अंत एक सीख के रूप में होता है, जो न केवल सुंदर के लिए, बल्कि हम सभी के लिए महत्वपूर्ण है। हमें हमेशा यह याद रखना चाहिए कि जब भी हम मुश्किल समय का सामना कर रहे होते हैं, तो मदद मांगने में कोई शर्म नहीं होनी चाहिए। जिंदगी में कई रास्ते होते हैं, और आत्महत्या कभी अंतिम विकल्प नहीं होना चाहिए।