जरा सा काम करने में सांस फूलने लगती है, ये लंग कैंसर का भी लक्षण हो सकता है, तुरंत जांच कराएं
सांस फूलना क्या कैंसर हो सकता है
फेफड़ों का कैंसर दुनिया में सबसे ज्यादा होने वाले कैंसर में से एक है। लगभग पांच में से एक मौत लंग कैंसर की वजह से होती है। गंभीर होने के बावजूद, फेफड़ों के कैंसर के कई मामलों का तब तक पता नहीं चल पाता जब तक कि इसके लक्षण गंभीर रूप से दिखाई न देने लगें। अगर आपको सांस लेने में कठिनाई होती है या जरा सा काम करने पर ही सांस फूलने लगती है तो ये थकान या कमजोरी के अलावा फेफड़ों के कैंसर का लक्षण भी हो सकता है। फेफड़ों में जब कैंसर बढ़ने लगता है तो सांस लेने में परेशानी होने लगती है। ऐसे में बिना किसी मेहनत वाले काम के भी इंसान की सांस फूलने लगती है। आइये जानते हैं लंग कैंसर के लक्षण क्या हैं। कैसे समय से पहले फेफड़ों के कैंसर की पहचान की जा सकती हैं?
ज्यादातर लोग फेफड़ों के कैंसर को धूम्रपान से जोड़कर देखते हैं। जबकि बढ़ता प्रदूषण और कई दूसरे कारण भी इसके लिए जिम्मेदार हैं। लंग कैंसर को लेकर जागरुकता फैलाने के लिए हर साल 1 अगस्त को वर्ल्ड लंग कैंसर डे (विश्व फेफड़ों के कैंसर दिवस) मनाया जाता है। , जिसका उद्देश्य लोगों में जागरूकता फैलाने, जल्दी लक्षणों की पहचान करने और सही इलाज कराना है।
फेफड़ों के कैंसर के लक्षण
फेफड़ों का कैंसर अक्सर शुरूआती स्टेज में चुपचाप विकसित होता है। यही कारण है कि लोगों को इसके लक्षणों का पता नहीं चल पाता है। शरीर में ऐसे कुछ सामान्य बदलाव होते हैं जिन्हें लोग नॉर्मल समझकर नजरअंदाज कर देते हैं। जबकि शरीर में होने वाले इन बदलावों पर आपको गौर करना चाहिए।
खांसी जो ठीक नहीं होती या समय के साथ बदतर हो जाती है।
हल्की गतिविधि करने में भी सांस फूलना।
सीने में दर्द, जो गहरी सांस लेने या खांसने से बढ़ सकता है।
बिना किसी कारण के वजन घटना या भूख न लगना।
खून की खांसी आना, भले ही कभी या थोड़ी मात्रा में हो।
बहुत थकान या कमजोरी महसूस होना।
आवाज बदलाव या आवाज कर्कश होना।
छाती में संक्रमण, जैसे ब्रोंकाइटिस या निमोनिया।
इसके अलावा जो लक्षण कुछ लोगों में ही दिखाई देते हैं वो गर्दन या चेहरे में सूजन, हड्डियों में दर्द या उंगलियों के पोरों के आकार में बदलाव, जिसे क्लबिंग कहते हैं। ये लक्षण दिखाई दे सकते हैं। ऐसा तब होता है जब कैंसर शरीर में फैलना शुरू हो जाता है। अगर ऐसे कोई भी बदलाव आपको नजर आएं तो बिना देरी किए डॉक्टर को दिखाएं।