‘दलित हूं इसलिए मेरिट के बाद भी एडमिशन नहीं किया’

आगरा । बीएचयू के बाद अब आगरा कॉलेज में दलित छात्र का एडमिशन नहीं लेने का मामला सामने आया है। कटआॅफ लिस्ट में नाम होने के बाद भी लॉ फैकल्टी पर आरोप है कि दलित स्टूडेंट का एडमिशन नहीं लिया। हद तो यह कि उसके भाई का एडमिशन भी कैंसिल कर दिया।
दलित छात्र ने वीडियो जारी कर कॉलेज प्रशासन पर आरोप लगाए हैं। एससी कैटेगरी के छात्र जतिन सिंह ने बताया-
मेरिट में नाम होने के बाद भी आगरा के लॉ फैकल्टी में मेरा एडमिशन नहीं लिया जा रहा है। मैं रउ कैटेगरी का छात्र हूं इसलिए कालेज प्रशासन ऐसा कर रहा है। मेरे भाई का एडमिशन लेने के बाद कैंसिल कर दिया गया। ये लोग चाहते हैं कि एससी छात्र न पढ़ पाएं।
छात्र का आरोप है कि प्रॉक्टर ने उसके डॉक्यूमेंट्स फेंक दिए और उसके साथ अभद्रता की गई। हालांकि, कॉलेज प्रबंधन ने छात्र का एडमिशन न करने की वजह अनुशासनहीनता बताई है। कहा- एडमिशन लेने आए दो छात्रों पर टीचर्स के साथ बदतमीजी करने का आरोप है।
छात्र जतिन एत्मादपुर बरहन के मुरलीधरपुर का रहने वाला है। पिता किसान है। जबकि माता गृहिणी हैं। जतिन दो भाई बहन है।
जतिन ने बताया- बताया- आगरा कॉलेज की लॉ फैकल्टी की 13 नवंबर को पहली काउंसलिंग थी। पहली मेरिट लिस्ट में मेरा नाम था। मैं रउ-रळ कैटेगरी से हूं। इस कैटेगरी का कटआॅफ 142.78 था। इस कट आॅफ के आधार पर मेरा नंबर अधिक था। मेरा मार्क 142.97 था।
मेरे साथ मेरे चचेरे भाई सचिन का भी नाम लिस्ट में था। पहली काउंसिलिंग में मेरे भाई सचिन का एडमिशन हो गया। लेकिन मेरे पास कोई ईमेल नहीं आने की वजह से एडमिशन नहीं हो सका। मैंने जानकारी चाही लेकिन नहीं मिली। फिर मैंने दोबारा अप्लाई किया। इस पर टीचर ने कहा- तुम्हारा कट-आॅफ कम है। एडमिशन नहीं होगा।
छात्र ने आरोप लगाया कि जब मैंने अपने नंबर्स दिखाए और कटआॅफ बताया तो कॉलेज में टीचर और प्रॉक्टर ने मेरे साथ अभद्रता की। मेरे सभी दस्तावेज फेंक दिए गए। जब मेरे भाई ने पूछा कि जतिन का एडमिशन क्यों नहीं होगा तो मेरे भाई सचिन का फॉर्म फाड़ने की धमकी दी गई। प्रिंसिपल को भी शिकायत की गई।



