सीट शेयरिंग में हो रही देरी को लेकर कांग्रेस ने आरजेडी को दिया अल्टीमेटम, इन 13 सीटों पर भी नाम किए फाइनल

पटना । बिहार चुनाव के लिए पहले चरण के नामांकन आज से शुरू हो गए है। लेकिन अभी तक जन सुराज को छोड़कर किसी भी दल ने उम्मीदवारों की घोषणा नहीं है। एनडीए के साथ साथ महागठबंधन में भी सीट शेयरिंग को लेकर माथा पच्ची जारी है। इसी बीच गठबंधन के अहम सहयोगी दल कांग्रेस की पहली लिस्ट तैयार हो गई है। सूत्रों की मानें तो 13 उम्मीदवारों के नाम फाइनल है, बस ऐलान बाकी है। इस बीच कांग्रेस ने राजद को अल्टीमेटम दे दिया है कि सीटों का बंटवारा जल्द करें। अगर ऐसा नहीं हुआ तो कांग्रेस पहले चरण वाले इलाकों में अपने दावों वाली सीटों पर नामांकन शुरू कर देगी।
हाल ही में हुई कांग्रेस की केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में पार्टी ने अपने हिस्से की संभावित सीटों के प्रत्याशियों के नाम तय कर दिए हैं। आने वाले दिनों में इसकी घोषणा की जाएगी। इनमें 13 संभावित उम्मीदवारों के नाम सामने आए है। सूत्रों के अनुसार, बिहार कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष राजेश राम अपनी मौजूदा सीट कुटुंबा से चुनाव लड़ेंगे। वहीं, कांग्रेस विधायक दल के नेता शकील अहमद खान भी अपनी मौजूदा सीट कदवा से फिर से चुनावी मैदान में उतरने वाले हैं।
जबकि किशनगंज से इजहारुल हुसैन, मनिहारी से मनोहर प्रसाद सिंह, मुजफ्फरपुर से विजेंद्र चौधरी, करहगर से संतोष मिश्रा, औरंगाबाद से आनंद शंकर सिंह को पार्टी टिकट देगी। ये सभी अभी मौजूदा विधायक हैं। इसके अलावा बेगूसराय से अमिता भूषण, बछवाड़ा से बिहार यूथ कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष शि वप्रकाश गरीब दास, रीगा से अमित कुमार टुन्ना, रोसड़ा से बीके रवि, वारिसलीगंज से सतीश कुमार और चेनारी से मंगल राम को टिकट मिलेगी।
कांग्रेस ने अपने हिस्से की सभी सीटों पर उम्मीदवार के नाम फाइनल कर दिए हैं। इस बात के संकेत बिहार प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष राजेश राम ने भी दिए है। राजेश राम का कहना है कि, हमने अपने उम्मीदवारों के सभी विधानसभा क्षेत्र तय कर लिए है। आने वाले समय में सभी लोग इंडिया गठबंधन की चुनावी ताकत और संघर्ष को देखेंगे। सीटों की आधिकारिक घोषणा बहुत जल्द की जाएगी।
कांग्रेस की दूसरी स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक आज आॅनलाइन होगी। इसमें उम्मीदवारों की सूची अंतिम रूप से तैयार की जाएगी। इसके बाद 11 अक्तूबर को कांग्रेस की केंद्रीय चुनाव समिति इस पर अंतिम मुहर लगाएगी। 12 अक्तूबर को सीटों के समझौते पर सहमति का इंतजार किया जाएगा। इस बीच कांग्रेस ने राजद को अल्टीमेटम दे दिया है कि सीट बंटवारा जल्द करें। अगर ऐसा नहीं हुआ तो कांग्रेस पहले चरण वाले इलाकों में अपने दावों वाली सीटों पर नामांकन शुरू कर देगी। कांग्रेस नेता शकील अहमद खान का कहना है कि, अपने हिस्से की संभावित सीटों पर पार्टी के भीतर विमर्श पूरा हो चुका है। 25 से ज्यादा सीटों पर सहमति बन गई है। महागठबंधन में सीट बंटवारे और मुख्यमंत्री चेहरे की संयुक्त घोषणा 11 अक्टूबर को हो सकती है।
महागठबंधन में सीट शेयरिंग को लेकर माथापच्ची जारी है। इस बीच दो फॉमूर्ला सामने आए है। इनमें किसी एक पर मुहर लग सकती है। राज्य में विधानसभा की 243 सीटें है। पहले फामूर्ले के तहत आरजेडी 138, कांग्रेस 52, वाम दल 35,वीआईपी पार्टी 15, आरएलजेपी 2, जेएमएम को 1 सीटें दी जा सकती हैं। जबकि दूसरे फॉमूर्ले के तहत आरजेडी 130, कांग्रेस 55, वाम दल 35, वीआईपी 18, आरएलजेपी 3, जेएमएम को 2 सीटें मिल सकती हैं। कांग्रेस अध्यक्ष राजेश राम का कहना है कि गठबंधन में सभी की हिस्सेदारी का सम्मान किया जाएगा। इस समय सभी की हिस्सेदारी है और सभी की हिस्सेदारी के अनुसार हम काम करेंगे। हम सब मिलकर एक निष्कर्ष पर निकलेंगे, जो आज भी निकल सकता है या एक-दो दिन में भी। महागठबंधन में सभी दल एकजुट हैं और साथ मिलकर चुनाव में बेहतर परिणाम देंगे।
इस बीच महागठबंधन में शामिल वाम दल भी ज्यादा सीटों की डिमांड करते हुए नजर आ रहे है। सीपीआई, सीपीएम और सीपीआई (एमएल) ने मिलकर पिछली बार 29 सीटों पर चुनाव लड़ा था। उन्हें 16 सीटों पर जीत हासिल हुई थी। भाकपा (माले) ने 19 लड़ी सीटों में से 12 सीटें जीती थी। इसी आधार पर वाम दल चुनावों में ज्यादा सीटों की डिमांड करते हुए नजर आ रहे है। विकासशील इंसान पार्टी के मुकेश साहनी के अलावा पूर्व केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस की (आरएलजेपी) और झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन की पार्टी झामुमो को भी कुछ सीटें देनी पड़ सकती हैं। ऐसे में उम्मीद की जा रही है कि राजद की सीटों का आंकड़ा 115 से 120 के आसपास रह सकता है।
महागठबंधन में सीएम का चेहरा अभी तक साफ नहीं हैं। राजद तेजस्वी यादव को महागठबंधन का सीएम फेस बता रही है। खुद तेजस्वी अपने को महागठबंधन का सीएम फेस बता चुके हैं। वीआईपी और वाम दलों ने इसका समर्थन भी किया है, लेकिन कांग्रेस ने कभी भी खुलकर इस पर हामी नहीं भरी है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी और कांग्रेस के अन्य नेता, जैसे सचिन पायलट और कृष्णा अल्लावरु भी इस मुद्दे पर गोलमोल जवाब देते नजर आए। इन नेताओं का कहना है, मुख्यमंत्री का चेहरा चुनाव जीतने के बाद गठबंधन द्वारा सामूहिक रूप से तय किया जाएगा।
गौरतलब है कि, बिहार में कुल 243 सीटों पर 2 चरणों में चुनाव होंगे। पहले चरण में 121 और दूसरे चरण में 122 सीट के लिए मतदान होगा। बिहार की मौजूदा विधानसभा का कार्यकाल 22 नवंबर को समाप्त हो रहा है। चुनाव आयोग के मुताबिक, इस तारीख से पहले नई सरकार का गठन हो जाएगा।