हिंसक प्रदर्शन से काठमांडू एयरपोर्ट बंद, भारतीय उड़ानें रद्द; दूतावास ने जारी किए हेल्पलाइन नंबर

नई दिल्ली । नेपाल की राजधानी काठमांडू इस समय भारी अशांति की चपेट में है। सोमवार को सोशल मीडिया पर लगे प्रतिबंध के खिलाफ जेन जी की अगुवाई में हुए प्रदर्शन ने हिंसक रूप ले लिया। इसके बाद काठमांडू का त्रिभुवन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा भी बंद करना पड़ा। ऐसे में, भारत से नेपाल जाने वाली कई उड़ानें प्रभावित हुईं। एअर इंडिया ने दिल्ली-काठमांडू मार्ग पर चलने वाली तीन उड़ानों (एआई 2231/2232, एआई2219/2220 और एआई 217/218) को रद्द कर दिया। वहीं, इंडिगो की दिल्ली और मुंबई से उड़ानें (6ई1153 और 6ई1157) काठमांडू में उतरने के इंतजार में रहीं लेकिन मंजूरी न मिलने पर उन्हें लखनऊ डायवर्ट करना पड़ा।
नेपाल की नागरिक उड्डयन प्राधिकरण के अधिकारी ज्ञानेंद्र भुल ने बताया कि प्रदर्शनकारियों द्वारा लगाई गई आग से उठे धुएं के कारण हवाईअड्डे के दक्षिणी हिस्से से आने वाली उड़ानों की लैंडिंग रोक दी गई। फ्लाइट ट्रैकिंग वेबसाइट फ्लाइटरडार24 के आंकड़ों से भी पता चला कि कई भारतीय विमान नेपाल के ऊपर चक्कर काट रहे थे।
नेपाल सरकार ने हाल ही में इंस्टाग्राम, व्हाट्सएप, यूट्यूब और एक्स (पहले ट्विटर) जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर प्रतिबंध लगाया था। इसके खिलाफ हजारों युवा काठमांडू की सड़कों पर उतर आए। देखते ही देखते प्रदर्शन हिंसक हो गया और प्रदर्शनकारियों ने संसद भवन को घेर लिया। पुलिस ने आंसू गैस और वाटर कैनन का इस्तेमाल किया, लेकिन भीड़ के सामने सुरक्षाबल बेबस हो गए।
इसी बीच भारतीय दूतावास ने भारतीय नागरिकों के लिए आपातकालीन हेल्पलाइन नंबर जारी किए हैं। दूतावास ने कहा कि नेपाल में मौजूद सभी भारतीय नागरिक किसी भी आपात स्थिति या सहायता की जरूरत होने पर तुरंत संपर्क कर सकते हैं। जारी किए गए नंबर हैं: +977-9808602881 और +977-9810326134। दूतावास ने नागरिकों से सतर्क रहने और हालात पर नजर बनाए रखने की अपील की है। यात्रियों को अनावश्यक यात्रा से बचने की सलाह दी गई है।
स्थिति इतनी बिगड़ी कि प्रदर्शनकारियों ने प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली समेत कई शीर्ष नेताओं के घरों को आग के हवाले कर दिया। स्थानीय मीडिया में आई तस्वीरों और वीडियो में संसद भवन से उठते धुएं के बड़े-बड़े गुबार नजर आए। मंगलवार को ओली ने इस्तीफा दे दिया। वहीं, इन हालातों को देखकर ऐसा माना जा रहा है कि कई बड़े नेता नेपाल भी छोड़ सकते हैं।
राजधानी काठमांडू के कई हिस्सों में कर्फ्यू लगाया गया है और सभी स्कूल बंद कर दिए गए हैं। मंगलवार को भी लोग सोमवार की हिंसा और 19 मौतों के खिलाफ सड़कों पर उतरे। प्रदर्शन अब सिर्फ सोशल मीडिया बैन तक सीमित नहीं है, बल्कि सरकारी भ्रष्टाचार और राजनीतिक असंतोष के खिलाफ गुस्से में तब्दील हो चुका है।