बचपन में ऐसी दिखती थीं कंगना रनोट, पैदा होने से नाखुश थे पेरेंट्स
मुंबई: 23 मार्च, 1987 को हिमाचल प्रदेश के मंडी जिला के पास स्थित सुरजपूर (भाबंला) में जन्मी कंगना रनोट 29 साल की होने जा रही हैं। कंगना अपने बोल्ड किरदार, बड़बोलेपन, एक्टिंग स्किल्स या फिर पर्सनल लाइफ के चलते हमेशा चर्चाएं बटोरती हैं। कंगना के पैदा होने से नाखुश थे पैरेंट्स…
इसी साल वुमन्स डे के मौके पर दिए इंटरव्यू में कंगना ने बताया कि जब वे पैदा हुई थीं, तब उनके पेरेंट्स नाखुश थे। दरअसल, जब उनकी बड़ी बहन का जन्म हुआ था तो घरवाले बेहद खुश थे। लेकिन दूसरे बच्चे के तौर पर जब घर में लड़की हुई, तब परिवार वाले नाखुश हो गए। उस दौरान कंगना को अनवॉन्टेड चाइल्ड माना जाता था।
कंगना की फेवरेट हैं उनकी बड़ी बहन
कंगना के पिता अमरदीप रनोट बिजनेसमैन है और मां आशा रनोट स्कूल में टीचर हैं। उनकी बड़ी बहन है रंगोली, उनकी फेवरेट हैं। रंगोली, कंगना की मैनेजर है। एसिड अटैक जैसे दर्दनाक हादसे से गुजरने और नए सिरे से जिंदगी जीने वाली रंगोली की लाइफ पर कंगना बायोपिक बनाने की चाहत भी जाहिर कर चुकी हैं। उनका एक छोटा भाई भी है अक्षत रनोट।
कंगना के पिता अमरदीप रनोट बिजनेसमैन है और मां आशा रनोट स्कूल में टीचर हैं। उनकी बड़ी बहन है रंगोली, उनकी फेवरेट हैं। रंगोली, कंगना की मैनेजर है। एसिड अटैक जैसे दर्दनाक हादसे से गुजरने और नए सिरे से जिंदगी जीने वाली रंगोली की लाइफ पर कंगना बायोपिक बनाने की चाहत भी जाहिर कर चुकी हैं। उनका एक छोटा भाई भी है अक्षत रनोट।
एसिड अटैक के बाद 57 बार हुई थी कंगना की बहन की सर्जरी, बयां किया दर्द
थिएटर में किया काम
कंगना के माता-पिता चाहते थे कि वे डॉक्टर बनें, लेकिन किस्मत को कुछ और ही मंजूर था। कंगना ने कम उम्र में ही मॉडलिंग की राह अपनाई और दिल्ली में रहकर मशहूर थिएटर डायरेक्टर अरविंद गौड़ से एक्टिंग की ट्रेनिंग ली। वे अरविंद के थिएटर इंडिया हैबिटेट सेंटर का हिस्सा बनीं और कई नाटकों में काम किया। उनका पहला प्ले गिरीश कर्नाड का ‘रक्त कल्याण’ था।
कंगना के माता-पिता चाहते थे कि वे डॉक्टर बनें, लेकिन किस्मत को कुछ और ही मंजूर था। कंगना ने कम उम्र में ही मॉडलिंग की राह अपनाई और दिल्ली में रहकर मशहूर थिएटर डायरेक्टर अरविंद गौड़ से एक्टिंग की ट्रेनिंग ली। वे अरविंद के थिएटर इंडिया हैबिटेट सेंटर का हिस्सा बनीं और कई नाटकों में काम किया। उनका पहला प्ले गिरीश कर्नाड का ‘रक्त कल्याण’ था।
करियर में उतार चढ़ाव
2006 में कंगना ने ‘गैंगस्टर’ से फिल्मी करियर की शुरुआत की थी। इस फिल्म के लिए उन्हें बेस्ड डेब्यू एक्ट्रेस के फिल्मफेयर अवॉर्ड से नवाजा गया। फिल्म की सक्सेस के बाद उन्हें बॉलीवुड में मीना कुमारी की तरह ट्रेजडी क्वीन कहा जाने लगा था। इसके अलावा उन्होंने ‘फैशन’, ‘वो लम्हें’, ‘लाइफ इन मेट्रो’, ‘वन्स अपॉन ए टाइम इन मुंबई’, ‘तनु वेड्स मनु’, ‘क्वीन’, ‘तनु वेड्स मनु रिटर्न्स’ जैसी सुपरहिट फिल्में दीं। हालांकि, ‘रिवॉल्वर रानी’, ‘नो प्रोब्लम’, ‘नॉक आउट’, ‘आई लव एन वाय’, ‘कट्टी-बट्टी’ जैसी फिल्में बॉक्स ऑफिस पर असफल रहीं। ‘क्वीन’ और ‘तनु वेड्स मनु रिटर्न्स’ में अपनी शानदार एक्टिंग से कंगना ने दर्शकों को इम्प्रेस किया। इन दोनों फिल्मों के लिए उन्हें बेस्ट एक्ट्रेस का फिल्मफेयर अवॉर्ड मिला।