जेएनयू में पीएचडी दाखिले के लिए पंजीकरण की तारीख बढ़ी, अब 22 जुलाई तक करें आवेदन
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय ने शैक्षणिक सत्र 2025-26 के लिए पीएचडी में दाखिले के पंजीकरण की तारीख बढ़ा दी है। विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा सोमवार को जारी अधिसूचना के अनुसार, अब इच्छुक छात्र 22 जुलाई 2025 तक आॅनलाइन आवेदन कर सकते हैं। पीएचडी में दाखिला नेट/जेआरएफ/गेट के जरिये मिलेगा। एडमिशन पॉलिसी के मुताबिक, यूजीसी नेट स्कोर को 70% वेटेज दिया जाएगा और बाकी 30% वाइवा-वॉयस के लिए होगा।
दरअसल, जेएनयू छात्रसंघ ने पीएचडी दाखिले के लिए पंजीकरण तारीख बढ़ाने की मांग की थी। इस संबंध में छात्रसंघ के पदाधिकारियों ने दाखिला निदेशक को पत्र लिखा था। पत्र के अनुसार, यूजीसी नेट जून 2025 की परीक्षा में पास होने वाले छात्रों को मौजूदा पीएचडी दाखिला प्रक्रिया में कोई मुश्किल नहीं होनी चाहिए और नेट का परिणाम घोषित होने तक पीएचडी दाखिला पंजीकरण की तारीख को बढ़ाया जाए।
जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) छात्रसंघ ने यूजीसी नेट जून 2025 का परिणाम जल्द जारी करने की मांग की है। छात्रसंघ ने राष्ट्रीय टेस्टिंग एजेंसी को पत्र लिखा है। छात्रसंघ के पत्र के अनुसार परिणाम में देरी होने से छात्रों में चिंता है। जेएनयू सहित कई विश्वविद्यालयों में पीएचडी दाखिला प्रक्रिया चल रही है। ऐसे में मांग है कि 2025 के परिणाम यूजीसी-नेट जून 2025 बिना देरी के घोषित करे।
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में पीएचडी प्रोग्राम के लिए आवेदन करने वाले उम्मीदवारों के लिए कुछ जरूरी योग्यताएं तय की गई हैं। आवेदक के पास 4 वर्षीय स्नातक डिग्री के बाद कम से कम 1 वर्ष की मास्टर्स डिग्री (या 3+2 शैक्षणिक व्यवस्था) होनी चाहिए, जिसमें न्यूनतम 55% अंक अनिवार्य हैं। यदि उम्मीदवार के पास एम.फिल. की डिग्री है, तो वह भी आवेदन कर सकता है, बशर्ते उसमें भी न्यूनतम 55% अंक प्राप्त किए गए हों।
जो छात्र सीधे 4 वर्षीय बैचलर डिग्री के बाद पीएचडी में दाखिला लेना चाहते हैं, उनके लिए न्यूनतम 75% अंक होना आवश्यक है। इसके अतिरिक्त, यदि किसी आवेदक ने अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय से डिग्री प्राप्त की है, तो वह भी मान्य होगी, बशर्ते वह डिग्री भारत में मान्यता प्राप्त हो।
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में पीएचडी में प्रवेश की पेशकश स्वीकार करते समय प्री-एनरोलमेंट पोर्टल पर भारतीय छात्रों को आॅनलाइन शुल्क का भुगतान करना होगा। सामान्य पीएचडी पाठ्यक्रमों के लिए यह शुल्क 325 रुपये निर्धारित किया गया है, जबकि इंजीनियरिंग स्कूल में पीएचडी करने वाले छात्रों को 20,545 रुपये का शुल्क देना होगा। यह भुगतान केवल आॅनलाइन मोड में ही स्वीकार किया जाएगा।