साढ़े पांच साल बाद शुरू हुआ शिवाजी म्यूजियम का काम
आगरा । ताजमहल के पास निमार्णाधीन छत्रपति शिवाजी महाराज म्यूजियम का काम आखिरकार शुरू हो गया। बजट के अभाव में पिछले 5.6 साल से इसका काम रुका हुआ था। पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने नवंबर तक टारगेट पूरा करने का दावा दिया है।
प्रदेश सरकार के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने जनवरी में निमार्णाधीन शिवाजी म्यूजियम का निरीक्षण करने के बाद रुके काम को फिर से शुरू कराने के लिए बजट जल्द जारी कराने का दावा किया था। उनके इस दावे को पूरा होने में ही 4 महीने से अधिक का समय लग गया। प्रोजेक्ट को पूरा करने के लिए शासन ने 98 करोड़ रुपये बजट स्वीकृत कर दिया है। इसका कुछ हिस्सा राजकीय निर्माण निगम को भी दे दिया गया है।
जिसके बाद बुधवार को काम शुरू हो गया। मंगलवार डीएम ने स्थलीय निरीक्षण कर जल्द कार्य पूरा करने के निर्देश दिए। ताजमहल से 800 मीटर की दूरी पर बनने वाले छत्रपति शिवाजी संग्रहालय के निर्माण को लेकर कार्यदायी संस्था राजकीय निर्माण निगम और टाटा प्रोजेक्ट लिमिटेड के अधिकारियों के बीच सहमति पत्र पर हस्ताक्षर हुए। इसके बाद मंगलवार शाम को ही राजकीय निर्माण निगम और टाटा प्रोजेक्ट के अधिकारियों ने काम के शुभारंभ के लिए पूजन किया।
हम बात कर रहे हैं ताजमहल पूर्वी गेट से 1300 मीटर पहले बन रहे छत्रपति शिवाजी महाराज म्यूजियम की। वर्ष 2016 में तत्कालीन मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने इसके निर्माण के लिए नींव रखी थी। शुरूआत में इसका नाम मुगल म्यूजियम रखा गया। इस प्रोजेक्ट को 2017 में पूरा होना था। मगर, अगले ही साल उनकी सरकार चली गई। प्रदेश में योगी सरकार काबिज हुई। शुरूआत में जितना बजट स्वीकृत हुआ था, उससे 2019 आखिर तक काम चला। बजट के अभाव में जनवरी 2020 में इसका काम बंद हो गया।
वर्ष 2020 में ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आगरा भ्रमण के दौरान मुगल म्यूजियम का भी निरीक्षण किया और यहां से जाते-जाते इसका नाम बदलने की घोषणा कर दी। मुगल म्यूजियम का नाम बदलकर छत्रपति शिवाजी महाराज म्यूजियम कर दिया गया। मगर, बजट फिर भी जारी नहीं हो सका।
शिल्पग्राम के नजदीक 5.9 एकड़ भूमि में म्यूजियम के निर्माण को राजकीय निर्माण निगम द्वारा तैयार किए गए 198.84 करोड़ रुपये के रिवाइज्ड एस्टीमेट को शासन की स्वीकृति का इंतजार है। तीन मंजिला छत्रपति शिवाजी महाराज म्यूजियम में विश्व स्तरीय डिजिटल एवं आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर आधारित आॅडिटोरियम बनेगा। म्यूजियम के भवन पर 99 करोड़ रुपये व्यय हो चुके हैं। अभी 98 करोड़ रुपये और मिलने हैं। तब जाकर म्यूजियम का काम पूरा हो सकेगा।